भारतीय हाईवे और रोड ट्रांसपोर्ट मंत्रालय ने एक आदेश जारी करते हुए कार और एसयूवी में क्रैश या बुल गार्ड लगाने पर बैन लगा दिया है. सरकार ने सभी संबंधित विभागों को इसके लिए एक पत्र जारी कर कहा है कि इसे तत्काल प्रभाव से लागू किया जाए और नियम तोड़ने वालों पर कार्रवाई की जाए.
इस पत्र में सरकार की ओर से कहा गया है कि रोड एक्सिडेंट के अधिकांश मामलों में बुल गार्ड और क्रैश गार्ड एक मुख्य वजह होता है. ऐसे में इसका इस्तेमाल खतरनाक है. अगर कोई इस नियम को तोड़ता है तो उसपर मोटर व्हीकल एक्ट के सेक्शन 190 और 191 के तहत कार्रवाई की जाएगी और उस पर पैनेल्टी लगाई जाएगी. पढ़ें – टोयोटा और सुजुकी ने मिलाया हाथ, मिलकर बनाएंगी इलेक्ट्रिक कारें
कई कार मालिकों को लगता है कि क्रैश गार्ड और बुल गार्ड लगाने से कार की खूबसूरती बढ़ जाती है. लेकिन, दुर्घटना के वक्त ये गार्ड्स कई बार जानलेवा साबित होते हैं या इससे गंभीर चोट भी लग सकती है. इससे ना सिर्फ कार में बैठे लोग बल्कि सड़क पर चल रहे लोगों को भी काफी नुकसान हो सकता है. पढ़ें – इलेक्ट्रिक व्हीकल की बिक्री: गुजरात टॉप पर, सिर्फ 5 राज्यों में अच्छा है ग्राफ
जानकारों का मानना है कि इस तरह के गार्ड लगाने का कार पर भी विपरीत असर पड़ता है. इसकी वजह से सबसे ज्यादा कार की फ्यूल एफिशिएंसी पर असर पड़ता है.